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aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

बेस्ट जुदाई शायरी

अब जुदाई के सफ़र को मिरे आसान करो

तुम मुझे ख़्वाब में कर परेशान करो

मुनव्वर राना

हर मुलाक़ात का अंजाम जुदाई क्यूँ है

अब तो हर वक़्त यही बात सताती है हमें

शहरयार

इस जुदाई में तुम अंदर से बिखर जाओगे

किसी मा'ज़ूर को देखोगे तो याद आऊँगा

वसी शाह

हर मुलाक़ात का अंजाम जुदाई था अगर

फिर ये हंगामा मुलाक़ात से पहले क्या था

एजाज़ गुल

अंगड़ाई पर अंगड़ाई लेती है रात जुदाई की

तुम क्या समझो तुम क्या जानो बात मिरी तन्हाई की

क़तील शिफ़ाई

अभी तो अच्छी लगेगी कुछ दिन जुदाई की रुत

अभी हमारे लिए ये सब कुछ नया नया है

शारिक़ कैफ़ी

दर्द और दर्द भी जुदाई का

ऐसे बीमार की दुआ कब तक

ज़हीर देहलवी

आज तक याद है वो शाम-ए-जुदाई का समाँ

तेरी आवाज़ की लर्ज़िश तिरे लहजे की थकन

अज़ीम मुर्तज़ा

तुझ को है हम से जुदाई आरज़ू

मेरे दिल में शौक़ है दीदार का

फ़ाएज़ देहलवी

एक दर्द-ए-जुदाई का ग़म क्या करें

किस मरज़ की दवा है तिरे शहर में

मज़हर इमाम

Jashn-e-Rekhta | 8-9-10 December 2023 - Major Dhyan Chand National Stadium, Near India Gate - New Delhi

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