आपकी खोज से संबंधित
परिणाम ",LOhJ"
अत्यधिक संबंधित परिणाम ",lohj"
नज़्म
किसी को उदास देख कर
ये कार-ख़ानों में लोहे का शोर-ओ-ग़ुल जिस में
है दफ़्न लाखों ग़रीबों की रूह का नग़्मा
साहिर लुधियानवी
ग़ज़ल
जब सब के लब सिल जाएँगे हाथों से क़लम छिन जाएँगे
बातिल से लोहा लेने का एलान करेंगी ज़ंजीरें
हफ़ीज़ मेरठी
अन्य परिणाम ",lohj"
ग़ज़ल
दिल है दाग़ जिगर है टुकड़े आँसू सारे ख़ून हुए
लोहू पानी एक करे ये इश्क़-ए-लाला-अज़ाराँ है
मीर तक़ी मीर
नज़्म
किसान
जिस का मस ख़ाशाक में बनता है इक चादर महीन
जिस का लोहा मान कर सोना उगलती है ज़मीन