आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "پئے_رفع_بدگمانی"
शेर के संबंधित परिणाम "پئے_رفع_بدگمانی"
शेर
मकाँ तो है नहीं जो खींच दें दीवार इस दिल में
कोई दूजा नहीं रह पाएगा अब यार इस दिल में
भास्कर शुक्ला
शेर
हारून फ़राज़
शेर
दिल आबाद कहाँ रह पाए उस की याद भुला देने से
कमरा वीराँ हो जाता है इक तस्वीर हटा देने से
जलील ’आली’
शेर
दिल-ए-सद-चाक मिरा राह यहाँ कब पाए
कूचा-ए-ज़ुल्फ़ में फिरता है तिरे शाना ख़राब