आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "ग़बन"
शेर के संबंधित परिणाम "ग़बन"
शेर
कैसे भूले हुए हैं गब्र ओ मुसलमाँ दोनों
दैर में बुत है न काबे में ख़ुदा रक्खा है
aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair
jis ke hote hue hote the zamāne mere
परिणाम "ग़बन"
कैसे भूले हुए हैं गब्र ओ मुसलमाँ दोनों
दैर में बुत है न काबे में ख़ुदा रक्खा है
Jashn-e-Rekhta 10th Edition | 5-6-7 December Get Tickets Here