आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "हासिद"
शेर के संबंधित परिणाम "हासिद"
शेर
लुत्फ़-ए-शब-ए-मह ऐ दिल उस दम मुझे हासिल हो
इक चाँद बग़ल में हो इक चाँद मुक़ाबिल हो
मिर्ज़ा मोहम्मद तक़ी हवस
शेर
ये लम्हा लम्हा ज़िंदा रहने की ख़्वाहिश का हासिल है
कि लहज़ा लहज़ा अपने आप ही में मर रहा हूँ मैं
मुशफ़िक़ ख़्वाजा
शेर
वो भला कैसे बताए कि ग़म-ए-हिज्र है क्या
जिस को आग़ोश-ए-मोहब्बत कभी हासिल न हुआ