आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "uljhe"
शेर के संबंधित परिणाम "uljhe"
शेर
कितने तूफ़ानों से हम उलझे तुझे मालूम क्या
पेड़ के दुख-दर्द का फूलों से अंदाज़ा न कर
फ़हीम जोगापुरी
शेर
वर्ना तो हम मंज़र और पस-मंज़र में उलझे रहते
हम ने भी सच मान लिया जो कुछ दिखलाया आँखों ने