आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "lap"
ग़ज़ल के संबंधित परिणाम "lap"
ग़ज़ल
हर अम्र में दुनिया के मौजूद जिधर देखो
आदम को किया हैराँ शैतान की लप-झप ने
इंशा अल्लाह ख़ान इंशा
ग़ज़ल
लप पे गर नग़्मा नहीं पलकों पे ही तारा मिले
गुल नहीं खिलते तो कोई ज़ख़्म ही खिलता मिले
सादिक़ नसीम
ग़ज़ल
रहियो हुशियार तू लप-झप से बुताँ की 'क़ाएम'
बात की बात में वाँ दिल को उड़ा जाते हैं
क़ाएम चाँदपुरी
ग़ज़ल
कभी तो सुब्ह तिरे कुंज-ए-लब से हो आग़ाज़
कभी तो शब सर-ए-काकुल से मुश्क-बार चले
फ़ैज़ अहमद फ़ैज़
ग़ज़ल
शकील बदायूनी
ग़ज़ल
साअद-ए-सीमीं दोनों उस के हाथ में ला कर छोड़ दिए
भूले उस के क़ौल-ओ-क़सम पर हाए ख़याल-ए-ख़ाम किया