आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "KHabar liyaayaa hai hud hud mere taiin us yaar e jaanii kaa"
अत्यधिक संबंधित परिणाम "KHabar liyaayaa hai hud hud mere taiin us yaar e jaanii kaa"
ग़ज़ल
ख़बर लियाया है हुदहुद मेरे तईं उस यार-ए-जानी का
ख़ुशी का वक़्त है ज़ाहिर करूँ राज़-ए-निहानी का
क़ुली क़ुतुब शाह
ग़ज़ल
नहीं है ज़ख़्म कोई बख़िये के दर-ख़ुर मिरे तन में
हुआ है तार-ए-अश्क-ए-यास रिश्ता चश्म-ए-सोज़न में
मिर्ज़ा ग़ालिब
ग़ज़ल
फ़ना की मंज़िलों से ताइर-ए-जाँ पार हो जाता
मगर हद बन गए आख़िर यही कौन-ओ-मकाँ मेरी
मुज़फ्फ़र अहमद मुज़फ्फ़र
ग़ज़ल
मौसम-ए-गुल है तिरे सुर्ख़ दहन की हद तक
या मिरे ज़ख़्मों से आरास्ता तन की हद तक
इमरान-उल-हक़ चौहान
अन्य परिणाम "KHabar liyaayaa hai hud hud mere taiin us yaar e jaanii kaa"
कुल्लियात
मैं ये कहता था कि दिल जन ने लिया कौन है वो
यक-ब-यक बोल उठा उस तरफ़ आ मैं ही हूँ
मीर तक़ी मीर
ग़ज़ल
शौक़ की राह-ए-पुर-ख़तर तय तो कर आए हम मगर
नज़्र-ए-हवादिस-ए-सफ़र दौलत-ए-जिस्म-ओ-जाँ हुई