aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair
jis ke hote hue hote the zamāne mere
परिणाम "bhun"
गर्मी से मुज़्तरिब था ज़माना ज़मीन परभुन जाता था जो गिरता था दाना ज़मीन पर
हम सनम दम तिरे इश्क़ का भर गएजल गए भुन गए कट गए मर गए
एक मुद्दत से तिरी याद भी आई न हमेंऔर हम भूल गए हों तुझे ऐसा भी नहीं
हम तो समझे थे कि हम भूल गए हैं उन कोक्या हुआ आज ये किस बात पे रोना आया
तुम ने किया न याद कभी भूल कर हमेंहम ने तुम्हारी याद में सब कुछ भुला दिया
आसमाँ इतनी बुलंदी पे जो इतराता हैभूल जाता है ज़मीं से ही नज़र आता है
याद रखना ही मोहब्बत में नहीं है सब कुछभूल जाना भी बड़ी बात हुआ करती है
इस ज़िंदगी में इतनी फ़राग़त किसे नसीबइतना न याद आ कि तुझे भूल जाएँ हम
अब तो हर बात याद रहती हैग़ालिबन मैं किसी को भूल गया
नगरी नगरी फिरा मुसाफ़िर घर का रस्ता भूल गयाक्या है तेरा क्या है मेरा अपना पराया भूल गया
तुम भूल कर भी याद नहीं करते हो कभीहम तो तुम्हारी याद में सब कुछ भुला चुके
अब और क्या किसी से मरासिम बढ़ाएँ हमये भी बहुत है तुझ को अगर भूल जाएँ हम
भूल शायद बहुत बड़ी कर लीदिल ने दुनिया से दोस्ती कर ली
नहीं नहीं हमें अब तेरी जुस्तुजू भी नहींतुझे भी भूल गए हम तिरी ख़ुशी के लिए
हमें भी आज ही करना था इंतिज़ार उस काउसे भी आज ही सब वादे भूल जाने थे
जिस को तुम भूल गए याद करे कौन उस कोजिस को तुम याद हो वो और किसे याद करे
इक हसीं आँख के इशारे परक़ाफ़िले राह भूल जाते हैं
वफ़ा की कौन सी मंज़िल पे उस ने छोड़ा थाकि वो तो याद हमें भूल कर भी आता है
किसी बेवफ़ा की ख़ातिर ये जुनूँ 'फ़राज़' कब तकजो तुम्हें भुला चुका है उसे तुम भी भूल जाओ
मुस्कुराहट है हुस्न का ज़ेवरमुस्कुराना न भूल जाया करो
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