आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "آلات"
ग़ज़ल के संबंधित परिणाम "آلات"
ग़ज़ल
तीर-ओ-नश्तर की तरह दिल में उतरते हैं 'क़मर'
तेरे अल्फ़ाज़ के आलात से डर लगता है
सय्यद क़मरुद्दीन क़मर
ग़ज़ल
बे-ज़ख़्म सदा देने लगे साज़ अजब क्या
गर करने लगें ख़ुद-बख़ुद आलात-ए-ग़िना रक़्स
सय्यद यूसुफ़ अली खाँ नाज़िम
ग़ज़ल
जिस पर सजाएँ ख़िलअत-ओ-आलात-ए-अस्करी
अम्बोह-ए-बुज़दिलांँ में वो जी-दार भी तो हो
ज़किया शैख़ मीना
ग़ज़ल
साग़र सिद्दीक़ी
ग़ज़ल
गिरते ख़ेमे जलती तनाबें आग का दरिया ख़ून की नहर
ऐसे मुनज़्ज़म मंसूबों को दूँ कैसे आफ़ात के नाम