आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "बर्राक़ी"
ग़ज़ल के संबंधित परिणाम "बर्राक़ी"
ग़ज़ल
न कर अफ़रंग का अंदाज़ा उस की ताबनाकी से
कि बिजली के चराग़ों से है इस जौहर की बर्राक़ी
अल्लामा इक़बाल
ग़ज़ल
ऐ शौक़ की बेबाकी वो क्या तेरी ख़्वाहिश थी
जिस पर उन्हें ग़ुस्सा है इंकार भी हैरत भी
हसरत मोहानी
ग़ज़ल
मन बै-रागी तन अनुरागी क़दम क़दम दुश्वारी है
जीवन जीना सहल न जानो बहुत बड़ी फ़नकारी है