रोमांस पर कहानियाँ

तरक़्क़ी पसंद

तंज़-ओ-मिज़ाह के अंदाज़ में लिखी गई यह कहानी तरक्क़ी-पसंद अफ़साना-निगारों पर भी चोट करता है। जोगिंदर सिंह एक तरक्क़ी-पसंद कहानी-कार है जिसके यहाँ हरेंद्र सिंह आकर डेरा डाल देता है और निरंतर अपनी कहानियाँ सुना कर बोर करता रहता है। एक दिन अचानक जोगिंदर सिंह को एहसास होता है कि वो अपनी बीवी की हक़-तल्फ़ी कर रहा है। इसी ख़्याल से वो हरेंद्र से बाहर जाने का बहाना करके बीवी से रात बारह बजे आने का वादा करता है। लेकिन जब रात में जोगिंदर अपने घर के दरवाज़े पर दस्तक देता है तो उसकी बीवी के बजाय हरेंद्र दरवाज़ा खोलता है और कहता है जल्दी आ गए, आओ, अभी एक कहानी मुकम्मल की है, इसे सुनो।

सआदत हसन मंटो

हरनाम कौर

अपने ज़माने में ताक़त और अपने बल के चलते मशहूर रहे एक सिख जट की कहानी। अब उसके पास केवल एक बेटा बहादुर सिंह है जिसकी परवरिश बीवी की मौत के बाद उसकी बहन ने की थी। मगर बहादुर सिंह में वह बात नहीं थी जो निहाल सिंह चाहता था। वह उसकी शादी को लेकर परेशान था। मगर बहादुर सिंह गाँव की किसी भी लड़की में दिलचस्पी ही नहीं लेता था। आख़िर में निहाल सिंह ने विभाजन के बाद पाकिस्तान जाने वाले काफ़िले से बहादुर सिंह के लिए एक लड़की लूट ली। उसने उसे बहादुर सिंह के कमरे में डाल कर दरवाज़ा बंद कर दिया। मगर जब उसने सुबह दरवाज़ा खोला तो सामने बहादुर सिंह सूट-सलवार पहने बैठा था और क़ाफ़िले वाली लड़की चारपाई के नीचे से निकल कर बाहर भाग गई।

सआदत हसन मंटो

Jashn-e-Rekhta | 2-3-4 December 2022 - Major Dhyan Chand National Stadium, Near India Gate, New Delhi

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