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aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

लेखक : मुबारक कापड़ी

संपादक : अहमद रियाज़

संस्करण संख्या : 1

प्रकाशक : नेशनल एजुकेशनल,मुंबई, नेशनल एदुकतिओनल मूवमेंट

मूल : मालेगांव, भारत

प्रकाशन वर्ष : 2009

भाषा : उर्दू

पृष्ठ : 288

सहयोगी : रेख़्ता, सय्यद अमीर अली

अंधेरे उजाले
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पुस्तक: परिचय

यह किताब नकारात्मक सोच के मसले को हल करती है, यह दलील देते हुए कि बहुत से क़ाबिल अफ़राद सकारात्मक फ़िक्र की कमी की वजह से ज़िंदगी में नाकाम रहते हैं। इसका मक़सद क़ारीन को नकारात्मक सोच के नमूनों को पहचानने और उन पर क़ाबू पाने में मदद देना है ताकि वे एक कामयाब ज़िंदगी गुज़ार सकें, उन्हें "नकारात्मक सोच के अंधेरों" से "सकारात्मक फ़िक्र के उजालों" की तरफ़ ले जा सके।

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