aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

मक़बूल नक़्श

ग़ज़ल 6

अशआर 3

यूँ तो अश्कों से भी होता है अलम का इज़हार

हाए वो ग़म जो तबस्सुम से अयाँ होता है

  • शेयर कीजिए

पत्थर भी चटख़्ते हैं तो दे जाते हैं आवाज़

दिल टूट रहे हैं तो सदा क्यूँ नहीं देते

  • शेयर कीजिए

क्या मेरी तरह ख़ानमाँ-बर्बाद हो तुम भी

क्या बात है तुम घर का पता क्यूँ नहीं देते

  • शेयर कीजिए
 

पुस्तकें 3

 

"कराची" के और शायर

Recitation

Jashn-e-Rekhta | 8-9-10 December 2023 - Major Dhyan Chand National Stadium, Near India Gate - New Delhi

GET YOUR PASS
बोलिए